जमशेदपुर। पूर्व सांसद सह कांग्रेस के वरीय नेता डॉ. अजय कुमार ने बुधवार को प्रेस बयान जारी करते हुए कहा कि भाजपा महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण की विरोधी है. उन्होंने कहा कि मईंया सम्मान योजना के तहत महिलाओं को मिल रही प्रति माह एक हजार रुपये की सम्मान राशि से भाजपा बौखला गई है। इसलिए एक साजिश के तहत भाजपा ने इस योजना के खिलाफ रांची हाईकोर्ट में सिमडेगा निवासी विष्णु साहु के माध्यम से एक जनहित याचिका दायर करवाई है।
डॉ. अजय ने कहा कि पहले पूर्व केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने गरीबों के घर उजाड़ने के उद्देश्य से एनजीटी में शिकायत की थी। अब प्रदेश की आधी आबादी (महिलाओं) को आर्थिक रुप से मजबूत करने के उद्देश्य से झारखंड सरकार द्वारा शुरू की गई मईंया सम्मान योजना की सफलता से भाजपा बौखला गई है। इस योजना के विरोध में भाजपा के नेताओं द्वारा मीडिया में दिए गए बयान इस बात के प्रमाण है कि भाजपा महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण की विरोधी है।
वह नहीं चाहती की प्रदेश की आधी आबादी (महिलाएं) आर्थिक रुप से मजबूत हों। इस योजना की सफलता का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि महज 15 दिनों में 45लाख महिलाओं ने अपना निबंधन कराया है और 42लाख महिलाओं को यह राशि प्राप्त भी हो गई है। झारखंड निर्माण के 24 वर्ष में 13 साल से अधिक समय तक भाजपा ने शासन किया। उसके बावजूद प्रदेश की महिलाओं की स्थिति में कोई परिवर्तन नहीं हुआ।
हेमंत सरकार ने जब महिलाओं को आर्थिक रुप से मजबूत करने का बीड़ा उठाया है तो बीजेपी इसको चुनावी मुद्दा बताकर इसका विरोध कर रही है। इतना ही नहीं इस योजना के खिलाफ रांची हाई कोर्ट में जनहित याचिका भी दर्ज करवाई है। यही भाजपा की महिला विरोधी होने के प्रमाण है। डॉ. अजय ने कहा कि एक तरफ अर्जुन मुंडा गरीबों के घरों को उजाड़ने के लिए एनजीटी में शिकायत करते हैं, वहीं दूसरी और बीजेपी मईंया सम्मान योजना का विरोध कर रही है। इससे स्पष्ट है कि भाजपा को केवल सत्ता चाहिए उसे जनता के हितों से कोई सरोकार नहीं है।
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