Jamshedpur (Nagendra) लौहनगरी जमशेदपुर शहर में सबसे पुरानी दुर्गा पूजा की शुरूआत रेलवे कर्मचारियों द्वारा शुरू की थी। इस साल पूजा कमेटी द्वारा बनाये जा रहे लंदन का क्लॉक टावर पंडाल में चर्चा का विषय बना हुआ है। जमशेदपुर शहर में दुर्गा उत्सव की धूम देखने को मिल रही है। शहर के अलग अलग क्षेत्रों में पूजा कमेटियों द्वारा आकर्षक पंडालों का निर्माण किया जा रहा है। इस साल एस ई दुर्गा पूजा कमेटी, लंदन के क्लॉक टावर की तर्ज पर पंडाल बनाया जा रहा है। 72 फिट ऊंचा क्लॉक टावर पश्चिम बंगाल के कोंटाई के कारीगरों द्वारा बनाया जा रहा है। SE Railway Durga Puja कमेटी में कुल 125 सदस्य हैं। 2025 में बनने वाले पंडाल की लागत 6.20 लाख है। मूर्ति 1.11000 है, लाइटिंग 1लाख 10 हजार समेत पंडाल और बाहर कुल 15 सीसी टीवी कैमरा लगाएंगे जाएंगे।
रेलवे दुर्गा पूजा कमेटी के संरक्षक महेश सिंह ने बताया शहर की सबसे पुरानी दुर्गा पूजा कमेटी है। यहां रेलवे के कर्मचारियों के सहयोग के साथ बाहरी जनता का भी सहयोग रहता है। इस साल यहां के लोग, लंदन के क्लॉक टावर में मां दुर्गा के दर्शन करेंगे। हम किताबों में टीवी या फ़िल्म में लंदन का क्लॉक टॉवर देखते हैं, उसे देखने के लिए अब इंग्लैंड नहीं जाना पड़ेगा। यहां कमेटी में महिलाओं की संख्या ज्यादा है। सप्तमी, अष्टमी और नवमी के दिन श्रद्धालुओं को निःशुल्क भोग का वितरण किया जाएगा। बता दें आजादी से पहले 1906 में अविभाजित बिहार के कालीमाटी रेलवे स्टेशन, जिसका नाम बदलकर अब टाटानगर हो गया है।
स्टेशन के बाहर दक्षिण पूर्व रेलवे के कर्मचारियों की एक कमेटी ने दुर्गा पूजा की शुरुआत की थी। कमेटी का नाम एसई रेलवे दुर्गा पूजा कमेटी रखा गया था। शुरूआती दौर में साधारण तरीके से पंडाल में मां दुर्गा की आराधना की जाती थी, लेकिन बदलते समय के साथ पूजा कमेटी में गैर रेलवे के सदस्य शामिल होते गए और पूजा का स्वरूप बदलता गया। यहां हर साल अलग अलग थीम पर पंडालों का निर्माण किया जाता है।

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