जनजाति के लिए आरक्षित 5 लोकसभा एवं 28 विधानसभा सीट जीतने का लक्ष्य निर्धारित किया गया
विकसित भारत संकल्प यात्रा कार्यक्रम में मोर्चा के कार्यकर्ता गाँव-गाँव जाकर जनजाति समाज के बीच अपनी भूमिका स्पष्ट करें
चक्रधरपुर। पश्चिमी सिंहभूम जिले के चाईबासा में भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्चा की दो दिवसीय। प्रदेश कार्यसमिति बैठक का प्रथम दिन सम्पन्न हुआ। बैठक का शुभारंभ भाजपा ध्वज को फहराकर किया गया। महापुरुषों के चित्रों में पुष्पाजंलि अर्पित किया गया। वंदे मातरम गीत से प्रथम सत्र का उद्धघाटन किया गया। उद्धघाटन सत्र को संबोधित करते हुए केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने कहा कि देश के यशस्वी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जनजाति समाज का देश मे मान, सम्मान और स्वाभिमान बढ़ाने का काम किया है।श्री मुंडा ने कहा कि आज हम गर्व से कह सकते है कि देश की राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मू जनजाति समाज से है।
उन्होंने कहा कि देश के आदिवासी महापुरुषों के वीरता एवं देश के लिए किए गए बलिदान को एक पहचान देते हुए धरती आबा बिरसा मुंडा की जयंती के दिन जनजाति गौरव दिवस घोषणा किया है जिसके माध्यम से उनकी गौरव गान करने का काम किया है।श्री मुंडा ने कहा कि जब जब केंद्र में भाजपा सरकार आती है आदिवासी समाज के लिए विकास की नीति एवं अधिकार देने का कार्य करती है।श्री मुंडा ने कहा कि श्रधेय अटल जी ने आदिवासी समाज की लंबी मांग को पूरा कर अलग राज्य का निर्माण किया। जनजाति समाज के लिए अलग मंत्रालय का निर्माण किया।श्री मुंडा ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने एक आदिवासी समाज के एक बेटे को कृषि मंत्रालय जैसा महत्वपूर्ण पद देकर आदिवासी समाज के ऊपर एक विश्वास व्यक्त करने का काम किया है।
श्री मुंडा ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पहले ऐसे प्रधानमंत्री है जिसने भगवान बिरसा मुंडा की जन्मस्थली खूंटी के उलिहातू जाकर उनको नमन किया है। बिरसा मुंडा की उस पवित्र भूमि से विकसित भारत संकल्प यात्रा का उलगुलान किया है। साथ ही प्रिमिटिव ट्राइब के विकास के लिए पीएम जन मन कार्यक्रम का शुभारंभ किया है।श्री मुंडा ने कहा कि जनजाति समाज के शिक्षा को नई दिशा देने के लिए मोदी जी के नेतृत्व में एकलव्य विद्यालय खोले जा रहे है। सिर्फ झारखण्ड में ही 91 एकलव्य विद्यालय खोले जा रहे है।
श्री मुंडा ने कहा कि जनजाति मंत्रालय एवं स्वास्थ्य मंत्रालय मिलकर आदिवासी समाज के अनुवांशिक बीमारी सिकल सेल एनीमिया के खिलाफ एक मुहिम चलाए जा रही है, यह जनजाति समाज के स्वस्थ स्वास्थ के लिए काफी निर्णायक साबित होगी। श्री मुंडा ने कार्यसमिति के सभी सदस्यों से नरेंद्र मोदी जी को पुनः प्रधानमंत्री बनाने के लिए भाजपा एवं मोदी सरकार के किए गए कार्यो को गांव गांव जाकर आदिवासी समाज के बीच बताने का आग्रह किया।
हेमन्त राज में आदिवासी हो रहे प्रताड़ित: समीर उराँव : मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं राज्यसभा सांसद समीर उराँव ने कार्यसमिति बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि एसटी मोर्चा के कार्यकर्ताओं के कंधो में बड़ी जिम्मेवारी है कि वे हेमन्त सरकार के कुकर्मों को जनजाति समाज के बीच जाकर बताने का काम करे। उन्होंने कहा कि राज्य में हेमन्त सोरेन सरकार बनते ही चाईबासा में 7 आदिवासियों की हत्या हुई। साहेबगंज में राबिक पहाड़िया की बोटी-बोटी काटकर हत्या, होनहार दरोगा रूपा तिर्की की संदेहास्पद हत्या, रामेश्वर मुर्मू की हत्या, इसआई संध्या टोपनो की मवेशी तस्कर द्वारा हत्या कर देना, गुमला के घाघरा में भाई-बहन की पत्थर कूच कर हत्या,राँची में दिनदहाडे सुभाष मुंडा की हत्या सहित कई घटना यह बताती है कि हेमन्त सरकार में सबसे ज्यादा हत्या आदिवासी समाज के लोगो की हो रही है।
श्री उराँव ने कहा कि हेमन्त सरकार में सबसे ज्यादा प्रताड़ित आदिवासी महिलाएं हो रही है। इस सरकार में 2000 से अधिक आदिवासी महिलाओं के साथ दुष्कर्म की घटना घटी है। श्री उराँव ने कहा कि जल-जंगल-जमीन की बात करने वाली सरकार में ही आज न जल बचा, न जमीन और न ही जंगल।
जनजाति समाज की 5 लोकसभा सीट जीत पुनः नरेंद्र मोदी को प्रधानमंत्री बनाने का लक्ष्य: शिवशंकर उराँव : स्वागत भाषण देते हुए मोर्चा अध्यक्ष शिवशंकर उराँव ने कहा कि मोर्चा की इस बैठक में सभी कार्यकर्ता आगामी लोकसभा में 5 जनजाति लोकसभा सीट एवं 28 जनजाति विधानसभा सीट जितने के लक्ष्य को निर्धारित कर आज से ही लग जाये। गांव - गांव जाकर मोदी जी के जनजाति विकास के किए गए कार्यो को बातए एवं पार्टी के नीति सिद्धान्तों से जनजाति समाज को जोड़ने का कार्य करें।
केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा, एसटी मोर्चा राष्ट्रीय अध्यक्ष राज्यसभा सांसद समीर उराँव, मोर्चा प्रदेश अध्यक्ष शिवशंकर उराँव, प्रभारी रामकुमार पहान, प्रभारी डॉ निक्की हेम्ब्रम, नीलकंठ सिंह मुंडा, गंगोत्री कुजूर, बढ़कुंवर गागराई, जेबी तुबिद,अशोक बड़ाईक, शशि भूषण शामड़, मेनका सरदार, लक्मन टुडू, ताला मरांडी, मिस्त्री सोरेन, जवाहर लाल बानरा, कमलेश उराँव, अनंत राम टुडू,आरती कुजूर, बिंदेश्वर उराँव, विजय मेलगंडी,मंगल सिंह सोय, अवधेश सिंह चेरो, सुकुमनी हेमरोम, सहित कई उपस्थित थे: सृष्टि चाईबासा
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