Default Image

Months format

Show More Text

Load More

Related Posts Widget

Article Navigation

Contact Us Form

Terhubung

NewsLite - Magazine & News Blogger Template

प्रधान जिला जज की अध्यक्षता में रैफरल जजों की मध्यस्थ अधिवक्ताओं के साथ बैठक, मध्यस्थता को और व्यावहारिक व सहज बनाने के विभिन्न पहलुओं पर हुआ विचार विमर्श, Meeting of referral judges with mediation advocates under the chairmanship of Principal District Judge, discussions were held on various aspects of making mediation more practical and convenient.


चक्रधरपुर। ज़िला विधिक सेवा प्राधिकार चाईबासा के तत्वावधान मे स्थानीय सिविल कोर्ट परिसर स्थित बैठक कक्ष में प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकार पश्चिमी सिंहभूम चाईबासा  विश्वनाथ शुक्ला की अध्यक्षता में रैफरल न्यायधीशों और प्राधिकार के कुशल मध्यस्थ अधिवक्ताओं के बीच मध्यस्थता के माध्यम से विभिन्न मुद्दों के निष्पादन के विषय पर तथा इसे और सुलभ व व्यावहारिक बनाने पर गंभीर चर्चा की गई।इस अवसर पर अपने संबोधन में प्रधान जिला एवं सत्र न्यायधीश  विश्वनाथ शुक्ला  ने मध्यस्थता के महत्व और विश्वसनीयता पर अपने विचार रखे।




उन्होंने सभी लोगों को मध्यस्थता के अनछुए पहलुओं की बारीकी से अवगत कराया, उन्होंने दोनों पक्षों को समान रूप से एक विशेष बिंदु पर आपसी सहमति के द्वारा मामले के सुखद निष्पादन पर होने वाली मानसिक और भावनात्मक रूप से भी संबंधों के सशक्त बने रहने को सामाजिक रूप से भी उपलब्धि पूर्ण बताया उन्होनें कहा कि यह मैत्रीपूर्ण तरीके से विवाद के समाधान का जरिया है, जिसमे दोनों पक्षों में किसी की हार नहीं होती, और कोई मानसिक दवाब भी नहीं होता।बैठक में मध्यस्थ अधिवक्ताओं ने भी व्यावहारिक रूप से आने वाली विभिन्न चुनौतीयों पर चर्चा की और सुझाव भी दिया।


इस दौरान जिला एवं सत्र न्यायाधीश चतुर्थ  कल्पना हजारीका को उनकी सेवानिवृत्ति पर मध्यस्थों के द्वारा सम्मानित किया गया। साथ ही अधिवक्ता पूजा चौरसिया और मिली बिरुआ को भी मध्यस्थता प्रशिक्षण के पश्चात बैठक में आमंत्रित किया गया। बैठक में प्रधान न्यायाधीश कुटुंब न्यायालय  योगेश्वर मणि, जिला एवं सत्र न्यायाधीश प्रथम ओम प्रकाश, जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वितीय सूर्य भूषण ओझा,  जिला एवं सत्र न्यायाधीश चतुर्थ कल्पना हजारिका, मुख्य न्यायायिक दंडाधिकारी  विनोद कुमार, अनुमंडल न्यायिक दंडाधिकारी  तौसीफ मेराज, न्यायिक दंडाधिकारी प्रथम श्रेणी  ऋषि कुमार सहित प्राधिकार से जुड़े मध्यस्थ अधिवक्तागण  अगस्तिन कुल्लु, सुभाष मिश्रा, नरेंद्र पांडेय, अमर बक्शी, नंदा सिन्हा, प्रणव दरीपा, संतोष गुप्ता, आदित्य विश्वकर्मा, मिली बिरुआ, पूजा चौरसिया आदि भी उपस्थित थे .उपरोक्त जानकारी प्राधिकार के सचिव राजीव कुमार सिंह ने दी।


मासिक लोक अदालत में 264 मामलों का हुआ निष्पादन,तीन लाख उनतीस हजार नौ सौ अस्सी रुपए की राशि का हुआ समायोजन। जिला विधिक सेवा प्राधिकार पश्चिमी सिंहभूम के तत्वावधान में स्थानीय सिविल कोर्ट परिसर में मासिक लोक अदालत का आयोजन किया गया। इस दौरान गठित बैंचों में मामलों की सुनवाई करते हुए कुल 264 वादों का सफल निष्पादन किया गया तथा 329980.00 ( तीन लाख उनतीस हजार नौ सौ अस्सी रुपए) की राशि का समायोजन किया गया।


प्राधिकार के सचिव  राजीव कुमार सिंह ने बताया कि लोक अदालत विभिन्न प्रकार के वादों को सुलझाने का एक सक्षम और सुलभ मध्यम है जिसमें लोग अपने सुलहनीय मामलों के त्वरित निष्पादन के लिए अपील कर सकते हैं, उन्होंने आगे बताया कि आज के लोक अदालत में न्यायिक पदाधिकारियो योगेश्वर मणि, प्रधान न्यायाधीश कुटुंब न्यायालय,  ओम प्रकाश, जिला एवं सत्र न्यायाधीश प्रथम,  सूर्य भूषण ओझा, ज़िला एवं सत्र न्यायाधीश द्वितीय, कल्पना हजारिका ज़िला एवं सत्र न्यायाधीश चतुर्थ,  विनोद कुमार, मुख्य नायक दंडाधिकारी,  राजीव कुमार सिंह सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकार,  तौसीफ मेराज, अनुमण्डल न्यायिक दंडाधिकारी,  अमिकर परवार रेलवे दंडाधिकारी,  ऋषि कुमार न्यायिक दंडाधिकारी प्रथम श्रेणी के द्वारा मामलों का निष्पादन किया गया। उपरोक्त जानकारी प्राधिकार के सचिव राजीव कुमार सिंह ने दी है।

No comments:

Post a Comment

GET THE FASTEST NEWS AROUND YOU

-ADVERTISEMENT-

NewsLite - Magazine & News Blogger Template