Upgrade Jharkhand News. झारखंड की राजनीति में एक बार फिर मतदाता सूची की पारदर्शिता को लेकर बहस छिड़ गई है। झामुमो के युवा नेता प्रवीण कुमार ने आज राज्य के मुख्य चुनाव अधिकारी को अँग्रेजी में एक विस्तृत पत्र लिखकर कोल्हान क्षेत्र से लगभग 7 लाख 90 हजार बाहरी वोटरों के नाम हटाने की माँग की है। उन्होंने कहा कि यह मामला केवल प्रशासनिक गड़बड़ी नहीं, बल्कि लोकतंत्र के मूल सिद्धांत न्यायपूर्ण और निष्पक्ष चुनाव से जुड़ा हुआ है।
पत्र में प्रवीण कुमार ने लिखा है कि आदित्यपुर और जमशेदपुर में बड़ी संख्या में ऐसे मतदाताओं के नाम दर्ज हैं जो स्थायी निवासी नहीं हैं, और जिनका झारखंड से कोई प्रत्यक्ष संबंध नहीं है। उन्होंने आरोप लगाया कि कुछ राजनीतिक दलों के प्रभाव में आकर बाहरी राज्यों से आए मजदूरों, अस्थायी निवासियों और फैक्ट्री कर्मियों के नाम योजनाबद्ध तरीके से मतदाता सूची में जोड़े गए हैं ताकि चुनावी नतीजों को प्रभावित किया जा सके।
> प्रवीण ने अपने पत्र में निर्वाचन आयोग से अनुरोध किया है कि:
> ● मतदाता सूची का पुनः सत्यापन कराया जाए, विशेषकर आदित्यपुर, बिष्टुपुर, बर्मामाइंस, साकची और मानगो इलाकों में।
> ● जिन मतदाताओं का स्थायी निवास प्रमाणपत्र, बिजली बिल, या स्थानीय पहचान नहीं है, उनके नाम तुरंत हटाए जाएं।
प्रवीण ने यह भी जोड़ा कि यह कदम किसी विशेष समुदाय या वर्ग के खिलाफ नहीं है, बल्कि राज्य के सम्मान, स्थानीय पहचान और लोकतांत्रिक मर्यादा की रक्षा के लिए उठाया गया है। उन्होंने चुनाव आयोग से तत्काल कार्रवाई की अपेक्षा जताई है ताकि कोल्हान की जनता को एक निष्पक्ष चुनाव का भरोसा मिल सके।इस मुद्दे पर कोल्हान के स्थानीय लोगों में चर्चा तेज हो गई है। कई सामाजिक संगठनों ने प्रवीण कुमार की पहल का समर्थन करते हुए कहा कि बाहरी वोटरों का प्रभाव हटाना स्थानीय जनादेश की स्वच्छता के लिए जरूरी है। अब देखना यह है कि चुनाव आयोग इस पत्र पर कितनी जल्दी और कितनी गंभीरता से कदम उठाता है।



























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